आज के वचन पर आत्मचिंतन...
किसी में दोष ढूँढना हम में से कईओ के लिए कितना आसान हैं ।खुदे में दोष ढूँढना काफी कठिन हैं ।येशु हमे याद दिलाते हैं की इससे पहले की हम औरो को बताये की उन्हें कैसे जीना चाहिए, हमे पहले खुद के कमजोरियनों और पापों से निपटना चाहिए । काफी आसान दिखाई पड़ता हैं , हैं ना? परन्तु , हम सब जानते है की नहीं हैं ।
मेरी प्रार्थना...
पिता, कृपया मुझे क्षमा कर की जब मैं औरो के प्रति रुखा, कठोर और आलोचात्मक होता हूँ । मैं जनता हूँ की मेरे खुद के जीवन में ही काफी बातें हैं जिनको पवित्र आत्मा के कार्य करने की आवश्यकता हैं । मैं अंगीकार करता हूँ की दैनिक पाप हैं जिनके लिए मैं अधिक से अधिक खुदके से बहाने ढूंढता हूँ । कृपया, प्रिय पिता, मेरे पापों से मुझे क्षमा कर और मुझे शक्ति दे की मैं उनसे आगे बढ़ जाऊँ । येशु के नाम से मैं प्रार्थना करता हूँ । अमिन ।